Paytm Vijay Shekhar Resigns: पेटीएम बैंक से अलग हुए ‘विजय’ ,गिरती जा रही है साख

 

Paytm Vijay Shekhar Resigns: इंदौर में Paytm पेमेंट बैंक के फील्ड मैनेजर ने फांसी लगाकर सुसाइड कर लिया है। पुलिस ने पत्नी के हवाले से कहा है उन्हें नौकरी जाने का डर था। इसलिए शायद सुसाइड किया । हकीकत क्या है यह तो वक्त बताएगा, लेकिन आज पेटीएम में उथल-पुथल मची हुई है। उससे यह साफ है कि उसके हजारों कर्मचारी तनाव में होंगे। उन्हें अपना भविष्य में अंधेरे में दिख रहा होगा।

इस बीच पेटीएम के फाउंडर विजय शेखर शर्मा ने पेटीएम पेमेंट्स बैंक (PPBL) के बोर्ड से रिजाइन कर दिया है। वे बैंक के पार्ट टाइम नॉन-एग्जीक्यूटिव चेयरमैन थे। उनके इस्तीफे के बाद बैंक का नया बोर्ड बनाया गया है। पेटीएम पेमेंट्स बैंक अब जल्द ही नए चेयरमैन की नियुक्ति की प्रोसेस शुरू करेगा।

विजय शेखर शर्मा के इस्तीफे से साफ है कि वह अपने को बैंक से अलग कर आरबीआई का भरोसा जीतना चाहते हैं। लेकिन भरोसे की इतनी कमी है कि वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने जब पेटीएम संकट के बाद डगमगाए अविश्वास को संभालने के लिए फिनेटक कंपनियों से मीटिंग की तो पेटीएम के विजय शेखर शर्मा को ही नबीं बुलाया गया। जबकि एक समय वह फिनटेक कंपनियों को पोस्टर बॉय हुआ करते थे।

पेटीएम संकट से पूरी इंडस्ट्री पर असर

देश में इस समय 10 हजार से ज्यादा फिनटेक कंपनियां है और पेटीएम जैसे दिग्गज के लड़खड़ाने के बाद तो भरोसे का संकट खड़ा हो गया है। और अब फाइनेंस मिनिस्ट्री और आरबीआई आने वाले दिनों में पेटीएम जैसी कोई दूसरी अनहोनी नहीं होने देना चाहते हैं।

असल में पोस्ट बॉय विजय शेखर शर्मा अपनी सफलता से इस हद तक अभिभूत थे कि लंदन, हांगकांग टोक्यो तक में पेटीएम का पताका फहराने की जिद-जुनून और गूगल पे, पे पॉल जैसे दिग्गजों को टक्कर देने की रेस में वह इतना आगे निकल गए कि जमीनी स्तर पर कई चूक होने लगी । और यही चूक आज उसके लिए भारी पड़ रही है और अब तो उन्हें अपनी ही कंपनी से बाहर होना पड़ा है। विजय शेखर के इस्तीफा देने से पहले दो इंडिपेंडेंट डायरेक्टर पेटीएम पेमेंट्स बैंक के बोर्ड से इस्तीफा दे चुके हैं।

और अब पेटीएम पेमेंट्स बैंक जल्द ही नए चेयरमैन की नियुक्ति की प्रोसेस शुरू करेगा। और ऐसी खबर हैं कि रेगुलेटरी नियमों के उल्लंघन के चलते RBI की कार्रवाई का सामना कर रहा पेटीएम पेमेंट बैंक अपने UPI सर्विस को जारी रखने के लिए देश के चार बड़े बैंकों-एक्सिस बैंक, HDFC बैंक, स्टेट बैंक ऑफ इंडिया और यस बैंक के साथ पार्टनरशिप करने जा रहा है। इसके पहले RBI ने पेटीएम पेमेंट बैंक में डिपॉजिट और अन्य ट्रांजैक्शंस की डेडलाइन को 15 मार्च तक बढ़ा दिया है। यानी 15 मार्च के बाद पेटीएम पेमेंट बैंक की सेवाएं बंद हो जाएंगी।

आरबीआई की ये है कवायद

हालांकि इससे बचने के लिए पेटीएम ने TPAP का दर्जा लेने का आवेदन किया है। जिस पर RBI ने कहा कि यदि NPCI पेटीएम को TPAP का दर्जा देता है, तो फिर ‘@paytm’ हैंडल के यूजर्स को बिना किसी दिक्कत के पेटीएम पेमेंट्स बैंक से नए बैंकों में माइग्रेट किया जाएगा।इसके लिए RBI ने NPCI से 4-5 पेमेंट सर्विस प्रोवाइडर बैंकों की पहचान करने को कहा है, जो हाई वॉल्यूम को संभाल सकें। RBI ने नोटिफिकेशन में कहा कि TPAP द्वारा तब तक कोई नया यूजर नहीं जोड़ा जाएगा, जब तक कि ‘@paytm’ हैंडल के सभी मौजूदा यूजर्स ठीक से एक नए हैंडल पर ट्रांसफर नहीं हो जाते। इस लिहाज से पेटीएम के लिए NPCI की मंजूरी काफी अहम है।

अपने ही साम्राज्य को हाथ से निकलता देख निश्चित तौर पर अलीगढ़ बॉय यानी विजय शेखर शर्मा को जरूर वो गलतियां याद आ रही होंगी, जो जाने-अनजाने उनसे हुई है। लेकिन आगे बढ़ने के जुनून में सबसे ज्यादा पेटीएम ग्रुप के 36 करोड़ ग्राहक और 15000 से ज्यादा कर्मचारियों पर असर हुआ है।